"श्रीलङ्का का संविधान": अवतरणों में अंतर
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'''अनुच्छेद १ : राज्य ''' </br> श्रीलङ्का (सीलोन) एक स्वतन्त्र, सम्पूर्ण-प्रभुत्व-सम्पन्न, स्वाधीन तथा लोकतान्त्रिक समाजवादी गणराज्य है एवं इसे '''श्रीलङ्का लोकतान्त्रिक समाजवादी गणराज्य''' के रूप में जाना जायेगा।  | |||
''' अनुच्छेद २ : एकीय राज्य ''' </br>  | |||
श्रीलङ्का गणराज्य एक एकीय राज्य है।  | |||
''' अनुच्छेद ३ : लोगों की सम्प्रभुता '''</br>  | |||
श्रीलङ्का गणराज्य में सम्प्रभुता लोगों में निहित है तथा अनन्यसङ्क्राम्य/अनन्यक्राम्य (inalienable) है। सम्प्रभुता में सरकार की शक्तियाँ, मौलिक अधिकार तथा मताधिकार सम्मिलित हैं  | |||
०१:३०, २६ सितम्बर २०२४ के समय का अवतरण
श्रीलङ्का लोकतान्त्रिक समाजवादी गणराज्य का संविधान 7 सितम्बर 1978 को राष्ट्रीय राज्य सभा द्वारा मूल उद्घोषणा के बाद अङ्गीकृत किया था। अक्टूबर 2022 तक इसे 21 बार संशोधित किया गया है।
प्रथम अध्याय
लोग, राज्य तथा प्रभुता
अनुच्छेद १ : राज्य  
 श्रीलङ्का (सीलोन) एक स्वतन्त्र, सम्पूर्ण-प्रभुत्व-सम्पन्न, स्वाधीन तथा लोकतान्त्रिक समाजवादी गणराज्य है एवं इसे श्रीलङ्का लोकतान्त्रिक समाजवादी गणराज्य के रूप में जाना जायेगा।
 अनुच्छेद २ : एकीय राज्य  
श्रीलङ्का गणराज्य एक एकीय राज्य है।
 अनुच्छेद ३ : लोगों की सम्प्रभुता 
श्रीलङ्का गणराज्य में सम्प्रभुता लोगों में निहित है तथा अनन्यसङ्क्राम्य/अनन्यक्राम्य (inalienable) है। सम्प्रभुता में सरकार की शक्तियाँ, मौलिक अधिकार तथा मताधिकार सम्मिलित हैं